मुकेश अंबानी ने वर्ष 2016 में जियो के लॉन्च करके टेलिकॉम सेक्टर को हिला दिया था। उनका जियो प्लान आधुनिक तकनीक के साथ सबसे सस्ता और अधिक डेटा प्रदानित करने का अविश्वसनीय तरीका था। इस कारण से इंटरनेट उपभोग की दर में तेजी से वृद्धि हुई। रिलायंस जियो प्राथमिक रूप से मुफ्त डेटा प्लान और कॉल सेवाओं की पेशकश के माध्यम से युवा और आम लोगों को अपना आकर्षित किया। जियो के उन्मुखी लॉन्च के बाद, टेलिकॉम सेक्टर में मोबाइल डेटा की दर में तेजी से कमी बढ़ी और प्रतिस्पर्धी कंपनियों को सांत्वना देने के लिए वे भी सस्ती पूरी तरह से दर संशोधित करने के लिए मजबूर हुए।
आज, रिलायंस जियो देश की सबसे बड़ी टेलिकॉम कंपनी बन गयी है। इसकी बाजार मूल्य क्रमश: 13 लाख करोड़ रुपये है जो विपणन और टेलिकॉम कंपनियों में उच्च स्थान पर रखता है। जियो ने इंटरनेट की गति वेब पोर्टल, डिजिटल वीडियो, म्यूजिक स्ट्रीमिंग और शॉपिंग आदि के कई स्थानों पर बढ़ा कर आम लोगों को आकर्षित किया है।
अब मुकेश अंबानी ने अपना ध्यान ईंधन वेयरस के क्षेत्र में भी दिखाने का निश्चय किया है। उन्होंने एनबीएफसी (एनेपत्री बनारस राफाइनरी एंड पेट्रोकेमिकल्स लिमिटेड) ग्रुप के साथ एक समझौता किया है, जिसके अंतर्गत वे ईंधन का उत्पादन, वितरण और विपणन करेंगे। रिलायंस एनबीएफसी प्लांट के स्थान पर, ईंधन उत्पादन, प्रक्रम और परियोजनाओं को अनुमानित किया जाता है।
यह सुरुचिपूर्ण उपलब्धि उनकी दृढ़ इच्छाशक्ति और नियमित नवीनता के परिणामस्वरूप है। मुकेश अंबानी ने हमेशा से उद्यमी के रूप में अपने आपको साबित किया है, और इस संघर्षी दुनिया में वे एक ताकतवर व्यापारी के रूप में अपना स्थान बनाए रखना चाहते हैं। इसे देखते हुए एक बात साफ है कि मुकेश अंबानी ने देश की आर्थिक दृष्टि से महत्त्वपूर्ण क्षेत्रों में अहम स्थान पर हावी हो गए हैं और अब ऍनबीएफसी में भी अपीक्षित शक्ति बनाए रखने की क्षमता रखते हैं।