यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदीमिर जेलेंस्की ने यूक्रेन को अमेरिकी मदद की आपेक्षितता पर बातचीत की है, कहते हुए कि अगर अमेरिका की मदद नहीं मिली तो उनकी जंग हार जाएगी। इसके बाद, अमेरिका ने यूक्रेन को 128 मिलियन डॉलर की मदद की घोषणा की है। इसके साथ ही, अमेरिका के डिफेंस विभाग ने भी 198 मिलियन डॉलर के हथियार और इक्विपमेंट्स देने की घोषणा की है। यह मदद आने से पहले तकरीबन 9 लाख करोड़ डॉलर तक पहुंच चुकी है।
यूक्रेन में रूस द्वारा किए गए मिसाइल हमलों के कारण तनाव बढ़ गया है, जिसका उत्तरदायी अमेरिकी सरकार मानती है। अमेरिका ने यूक्रेन को अब्राम टैंक भी प्रदान कर रहा है। हालांकि, इससे संबंधित एक विवाद भी उठा है क्योंकि इंटरनेशनल कोलिशन ने यूक्रेन और अन्य देशों को यूरेनियम वाले हथियारों के बैन की मांग की है। यह विवाद भी दूसरी ओर से चल रहे विवादों का अंग है जो यूक्रेन और अब अमेरिका के बीच मुद्दा बन चुके हैं।
साझा करेंगे तो अमेरिका यूक्रेन के साथ खड़ा है लेकिन अमेरिका के अंदर ही कांग्रेस के राजनीतिक पार्टियों के बीच इस मदद का मुद्दा का विवाद चल रहा है। रिपब्लिकन सांसद इस मदद के विरोध में हैं और इसे खर्च करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं।
जेलेंस्की ने अपने धन्यवाद का अभिवादन किया है और अमेरिकी लोगों को उनके यूक्रेन के साथी बनने पर शुक्रिया कहा है। उन्होंने कहा कि इस मदद से यूक्रेन का कौशल बढ़ेगा और वे खुदरा Ishwarya Joshi रोशनी ने जीतेंगे।