पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में एक राजनीतिक रैली के दौरान हुए आत्मघाती बम हमले में मृतकों की संख्या 46 हो गई है। हमले में जानलेवा घायलों की संख्या भी बढ़ गई है और इसके चलते आशंका बढ़ी है। इस हमले में जांचकर्ताओं द्वारा बताया गया है कि हमले में इस्लामिक स्टेट का हाथ हो सकता है। इस मामले की जांच के लिए स्थानीय अधिकारियों ने गंभीर कदम उठाए हैं और मामले को गंभीरता से लेते हुए विचारा जा रहा है। इस हमले के बाद सुरक्षा में बढ़ोतरी हो रही है और पुलिस और सुरक्षा अधिकारियों ने गंभीरता से कार्रवाई करने का आदेश दिया है। पाकिस्तान सरकार ने इस दुर्घटना के लिए जितना भी समर्थन और मदद आवश्यक है, वह सब करने की घोषणा की है। राष्ट्रीय औद्योगिक सुरक्षा प्राधिकरण (NACTA) ने भी इस मामले की जांच करने का आदेश दिया है और वह सुरक्षा एजेंसियों के साथ मिलकर जांच करेगा। इस हमले के बाद सुरक्षा प्रतिबंधों को और मजबूत करने के लिए सुरक्षा अधिकारियों ने अखबारों, मीडिया बीयरोज और राजनीतिक कार्यक्रमों के लिए सख्त नियम तय किए हैं। घाटी में होने वाली बंदूकबाजी की गतिविधियों का खुलासा करने के लिए पुलिस कठोर कार्रवाई कर रही है और सुरक्षा अर्धसैनिक शक्तियों का नियमित तालमेल है। मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस ने अभी तक किसी को गिरफ्तार नहीं किया है, लेकिन दोषियों की पहचान के लिए जांच जारी है।
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